महिलाओं के हाथ में केदारनाथ उपचुनाव की जीत की चाबी, मातृशक्ति का समर्थन पाने के लिए जुटे दोनों दल

केदारनाथ उपचुनाव की तारीखों का ऐलान हो गया है। इसी के साथ राजनीतिक दलों ने केदारनाथ में अपनी तैयारी भी तेज कर दी है। बता दें कि इस सीट की सबसे खास बात ये है कि यहां पर जीत की चाबी मातृशक्ति के हाथों में है। यानी कि यहां पर जीत महिलाओं पर निर्भर है। जिस पार्टी को महिलाओं का ज्यादा समर्थन मिलेगा जीत उसी की होगी।

महिलाओं के हाथ में केदारनाथ उपचुनाव की जीत की चाबी

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भाजपा हो या कांग्रेस केदारनाथ विधानसभा सीट के उपचुनाव के लिए अपनी-अपने राजनीति में युवाओं को फोकस करने में जुटे हुए हैं। तारीखों के ऐलान के साथ ही केदारनाथ उपचुनाव की तैयारियां और तेज हो गई हैं। केदारनाथ में 20 नवंबर को चुनाव होगा। हालांकि दोनों ही पार्टियां इसकी तैयारियां बहुत पहले से ही कर रही हैं। भाजपा ने इस कड़ी में विधानसभा क्षेत्र के प्रत्येक बूथ पर अपनी टोलिया को खास दिशा निर्देश दिए हैं कि महिला मतदाताओं पर फोकस किया जाए क्योंकि यहीं से जीत की चाबी निकलती है।

जीतेगा वही जिसके पाले में मातृशक्ति

विषम भूगोल वाले केदारनाथ विधानसभा क्षेत्र के इतिहास को देखें तो लोकतंत्र के महोत्सव में यहां की महिलाएं बढ़-चढ़कर भागीदारी करती हैं। पिछले विधानसभा चुनाव में यहां महिलाओं का मत प्रतिशत 69.61% था जबकि 60.29 प्रतिशत पुरुषों में मताधिकार का प्रयोग किया। इससे पहले के चुनाव में भी मातृशक्ति का मत प्रतिशत पुरुषों के निकले अधिक रहा है इसको देखते हुए कोई भी राजनीतिक दल वहां मातृशक्ति को नजर अंदाज नहीं कर सकता है।

इसको देखते हुए भाजपा ने केदारनाथ सीट के उप चुनाव की दृष्टिगत महिलाओं और युवा शक्ति का समर्थन जुटाने पर सर्वाधिक ध्यान केंद्रित किया है। केदारनाथ उप चुनाव के लिए पार्टी सूत्रों की मानें तो हर पोलिंग बूथ पर 15-15 कार्यकर्ताओं की टोली तैयार की गई है जो निरंतर महिला मतदाता और युवा मतदाताओं से संपर्क साध रही है।

केदारनाथ की जनता भाजपा को ही देगी अपना समर्थन

भाजपा की मानें तो उनकी पार्टी हमेशा एक चुनाव खत्म होने के बाद दूसरे चुनाव की तैयारी में जुट जाती है। केदारनाथ के लिए तो पार्टी का हर कार्य करता इस समय अपनी कमर कस चुका है। पार्टी के वरिष्ठ विधायक प्रदेश प्रवक्ता खजाना दास की मानें तो केदारनाथ के उपचुनाव के लिए पार्टी ने अपनी रणनीति के तहत पार्टी नेताओं को जिम्मेदारी देना शुरू कर दिया है।

जिसमें मंत्री हो या दायित्व धारी या फिर पदाधिकारी सभी को केदारनाथ यूपी चुनाव के लिए जिम्मेदारी दी जा चुकी है। विधायक खजान दास ने कहा कि साल 2007, 2017 और 2022 में केदारनाथ की जनता ने भाजपा को अपना समर्थन दिया है और इस बार भी इस उप चुनाव में जनता भाजपा को ही जीतने का काम करेगी।

केदारनाथ में महिलाएं बीजेपी को सिखाएगी सबक

कांग्रेस की मुख्य प्रवक्ता गरिमा दसौनी का कहना है कि आज भाजपा भले ही महिला मतदाताओं पर फोकस करने की बात कर रही हो। लेकिन प्रदेश में जनता भाजपा सरकार की सच्चाई जान चुकी है। गरिमा दसौनी का कहना है कि महिलाओं पर बढ़ रहे अपराध से जनता परेशान है। केदारनाथ में भी बद्रीनाथ की तरह ही जनता भाजपा को सबक सिखाने का काम करेगी।

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