चकराता: पहाड़ों पर चांदी सी चमक, बर्फबारी से पर्यटकों और स्थानीय किसानों का इंतजार हुआ खत्म, पर्यटन और बागवानी को मिलेगी नई ऊर्जा

uttarakhand barf bari

चकराता। उत्तराखंड के पर्यटन स्थल चकराता और आसपास के ऊंचाई वाले इलाकों में सीजन की पहली बर्फबारी ने अद्भुत नजारे पेश किए। रविवार रात से शुरू हुई बर्फबारी सोमवार दोपहर तक जारी रही। जब सूर्य की किरणें बर्फ से ढके पहाड़ों पर पड़ीं, तो पूरा इलाका चांदी की तरह चमकने लगा।

बर्फबारी का आनंद लेने के लिए बड़ी संख्या में स्थानीय पर्यटक लोखंडी और चकराता पहुंचे। उन्होंने बर्फ में खेलते हुए, बर्फ के गोले बनाकर एक-दूसरे पर फेंके और खूबसूरत पलों को अपने मोबाइल कैमरों में कैद किया। पर्यटन व्यवसायियों और स्थानीय व्यापारियों के चेहरे पर्यटकों की भीड़ देखकर खिल उठे।

Read More

बर्फबारी से बढ़ी उम्मीदें

सीजन की पहली बर्फबारी से स्थानीय किसानों और बागवानों को बड़ी राहत मिली। लंबे समय से बारिश और बर्फबारी न होने के कारण फसलों और बागवानी कार्यों पर असर पड़ा था। अब बर्फबारी से जमीन में नमी लौटेगी, जिससे फसल बुवाई और बागवानी को बढ़ावा मिलेगा।

स्थानीय किसानों ने इसे अपने बागों और फसलों के लिए अमृत के समान बताया। इसके अलावा, यह बर्फबारी पेयजल स्रोतों को रिचार्ज करने में भी मदद करेगी, जिससे ग्रीष्मकाल में जल संकट कम होगा।

पर्यटन को मिलेगा बढ़ावा

पर्यटन से जुड़े व्यवसायियों ने सीजन की इस पहली बर्फबारी को पर्यटन उद्योग के लिए संजीवनी बताया। अमित जोशी, राजेंद्र चौहान, और अन्य व्यवसायियों का कहना है कि बर्फबारी से पर्यटकों की आमद बढ़ेगी, जिससे क्षेत्र के लोगों को रोजगार मिलेगा और स्थानीय अर्थव्यवस्था में सुधार होगा।

पशुपालकों की चुनौतियां

हालांकि बर्फबारी ने पर्यटकों और किसानों के लिए खुशी लाई, लेकिन पशुपालकों को चारा-पत्ती जुटाने में मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। बर्फ के कारण पशु बाड़ों में सीमित हैं, जिससे उनके लिए चारा इकट्ठा करना कठिन हो गया है।

सीजन की यह पहली बर्फबारी न केवल चकराता की खूबसूरती में चार चांद लगा रही है, बल्कि पर्यटन और स्थानीय अर्थव्यवस्था के लिए नई उम्मीदें भी जगा रही है।

Related posts

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *